Class 11, HINDI COMPULSORY

Class 11 : हिंदी अनिवार्य – Lesson 8 भारत माता

संक्षिप्त लेखक परिचय

📘 लेखक परिचय — पंडित जवाहरलाल नेहरू


🔵 पंडित जवाहरलाल नेहरू का जन्म 14 नवम्बर 1889 को इलाहाबाद में हुआ।
🟢 पिता मोतीलाल नेहरू बैरिस्टर एवं स्वतंत्रता सेनानी थे, तथा माता स्वरूपरानी नेहरू थीं।
🟡 प्रारंभिक शिक्षा घर पर हुई, उसके बाद उन्होंने हैरो स्कूल (इंग्लैंड) और ट्रिनिटी कॉलेज, केंब्रिज में अध्ययन किया।
🔴 तत्पश्चात उन्होंने इनर टेंपल से वकालत की डिग्री प्राप्त की।
🟢 1916 में महात्मा गांधी से मिलने के बाद वे राष्ट्रीय आंदोलन में सक्रिय हुए।

🔵 उन्होंने असहयोग आंदोलन, नमक सत्याग्रह तथा भारत छोड़ो आंदोलन में प्रमुख भूमिका निभाई।
🟡 15 अगस्त 1947 को वे भारत के प्रथम प्रधानमंत्री बने और 1947–1964 तक इस पद पर रहे।
🔴 उन्होंने पंचवर्षीय योजनाएँ शुरू कीं, विज्ञान एवं औद्योगिकीकरण को बढ़ावा दिया तथा ‘गुटनिरपेक्ष नीति’ अपनाई।
🟢 उनकी लेखनी में “मेरी कहानी” (1936), “भारत की खोज” (1945) एवं “विश्व इतिहास की झलक” (1933) प्रमुख हैं।
🟡 उनकी शैली में स्पष्ट अभिव्यक्ति, दार्शनिकता, तथा मानव–केन्द्रित चिंतन झलकता है।

💠 प्रमुख कृतियाँ:
मेरी कहानी (1936), भारत की खोज (1945), विश्व इतिहास की झलक (1933)

💠 सम्मान:
भारत रत्न (1955)

💠 विचारधारा:
धर्मनिरपेक्षता, समाजवाद, लोकतंत्र

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पाठ का विश्लेषण  एवं  विवेचन


📖 पाठ परिचय
‘भारत माता’ जवाहरलाल नेहरू जी द्वारा रचित ‘हिंदुस्तान की कहानी’ का पांचवां अध्याय है। मूल रूप से अंग्रेजी में लिखित इस पुस्तक का हिंदी अनुवाद हरिभाऊ उपाध्याय ने किया है। इसमें नेहरू जी ने बताया है कि कैसे देश के कोने-कोने में आयोजित जलसों में जाकर वे आम लोगों, खासकर किसानों को समझाते थे कि अनेक हिस्सों में बंटा होने के बावजूद हिंदुस्तान एक है। इस पाठ में ‘भारत माता की जय’ के वास्तविक अर्थ को स्पष्ट किया गया है।

🎤 नेहरू जी के जलसे और किसानों से संवाद

🟢 शहर बनाम गाँव
🎯 नेहरू जी जब विभिन्न जलसों (समारोहों) में जाते थे तो अपने श्रोताओं से हिंदुस्तान या भारत की चर्चा करते थे।
🏙️ शहरों में वे ऐसा कम करते थे क्योंकि शहरी लोग अधिक समझदार (सयाने) होते थे और उन्हें दूसरी किस्म की चर्चा की जरूरत थी।
🌾 गांवों में किसानों से वे इस बड़े देश की चर्चा करते, जिसकी आजादी के लिए सब प्रयत्नशील थे।
🗺️ वे बताते कि कैसे देश का एक हिस्सा दूसरे से अलग होते हुए भी हिंदुस्तान एक है।

🟠 सभी किसानों की समस्याएं एक समान
🌏 नेहरू जी उत्तर से दक्षिण तक और पूर्व से पश्चिम तक की अपनी यात्राओं का हाल बताते।
🚩 उन्होंने खैबर दर्रे से लेकर कन्याकुमारी तक पूरे देश का भ्रमण किया था।
📌 सभी जगह के किसान उनसे एक जैसे सवाल करते थे क्योंकि उनकी तकलीफें एक-सी थीं:

💸 गरीबी, कर्जदारी
🏦 पूंजीपतियों का शिकंजा
👨‍🌾 जमींदारों और महाजनों का शोषण
💰 कड़ा लगान और भारी सूद
👮 पुलिस के जुल्म
🇬🇧 विदेशी सरकार का बोझ

🟡 स्वराज और वैश्विक संदर्भ
✊ नेहरू जी स्वराज्य (स्वतंत्रता) की चर्चा करते और बताते कि यह थोड़े लोगों के लिए नहीं बल्कि सभी के फायदे के लिए होगा।
🌍 वे चीन, स्पेन, अबीसिनिया, मध्य यूरोप, मिस्र और पश्चिमी एशिया में होने वाले संघर्षों का जिक्र करते।
🚀 सोवियत यूनियन में हो रही अद्भुत परिवर्तनों और अमेरिका की तरक्की के बारे में बताते।
📚 यह काम आसान था क्योंकि पुराणों, महाकाव्यों की कथाओं ने किसानों को देश की कल्पना करा दी थी।
🙏 कई लोग बड़े तीर्थों की यात्रा कर चुके थे जो भारत के चारों कोनों में हैं।
🎖️ पुराने सिपाही मिल जाते जिन्होंने पिछली बड़ी जंग में या विदेशों में नौकरियां की थीं।

🏔️ “भारत माता की जय” का अर्थ

🔴 प्रश्न और उत्तर
🎊 जब नेहरू जी किसी जलसे में पहुंचते तो उनका स्वागत “भारत माता की जय!” के नारे से होता।
वे अचानक लोगों से पूछ लेते: “इस नारे से आपका क्या मतलब है? यह भारत माता कौन है?”
😮 यह सवाल सुनकर लोग हैरान होते और एक-दूसरे की ओर देखने लगते।
🧑‍🌾 आखिरकार एक हट्टे-कट्टे जाट किसान ने जवाब दिया कि भारत माता से उनका मतलब धरती से है।

🔵 धरती से आगे…
🤔 नेहरू जी फिर पूछते: कौन-सी धरती? गांव की, जिले की, सूबे की या सारे हिंदुस्तान की?
💡 जब लोग जवाब नहीं दे पाते तो नेहरू जी स्वयं समझाते:
🏔️ हिंदुस्तान के नदी और पहाड़
🌲 जंगल और खेत जो अन्न देते हैं
👥 लेकिन आखिरकार जिनकी गिनती है, वे हैं हिंदुस्तान के करोड़ों लोग

🟣 वास्तविक अर्थ
🌟 “भारत माता दरअसल यही करोड़ों लोग हैं”।
🎯 “भारत माता की जय!” का मतलब है इन करोड़ों लोगों की जय।
🙌 नेहरू जी कहते: “तुम इस भारत माता के अंश हो, एक तरह से तुम ही भारत माता हो”।
✨ जैसे-जैसे यह विचार लोगों के मन में बैठता, उनकी आंखों में चमक आ जाती, मानो उन्होंने कोई बड़ी खोज कर ली हो।

🎯 पाठ का मुख्य संदेश

🟢 राष्ट्रीय एकता
🇮🇳 विविधता में एकता: अनेक हिस्सों, भाषाओं, संस्कृतियों में बंटा होने के बावजूद भारत एक राष्ट्र है।
🤝 सभी भारतवासियों की समस्याएं, संघर्ष और आकांक्षाएं एक समान हैं।

🟠 जन-जागरण
📢 नेहरू जी ने किसानों और आम जनता को राष्ट्रीय चेतना से जोड़ने का महत्वपूर्ण कार्य किया।
🎓 उन्होंने सरल भाषा में देश और दुनिया की स्थिति समझाई।

🟡 भारत माता की अवधारणा
👥 भारत माता कोई अमूर्त धारणा नहीं बल्कि यहां के करोड़ों लोग हैं।
🌾 धरती, नदियां, पहाड़, जंगल महत्वपूर्ण हैं पर सबसे महत्वपूर्ण हैं यहां के लोग।
💪 हर भारतवासी भारत माता का अंश है, इसलिए हर व्यक्ति भी भारत माता है।

🔴 स्वराज का सपना
🚩 स्वराज केवल राजनीतिक स्वतंत्रता नहीं बल्कि सभी के कल्याण के लिए होना चाहिए।
⚖️ गरीबी, शोषण, अन्याय से मुक्ति ही सच्चा स्वराज है।

📌 पाठ की विशेषताएं
🟦 भाषा शैली: सरल, सहज और बोलचाल की भाषा।
🌐 उर्दू-फारसी के शब्दों का सुंदर प्रयोग जैसे – सयाने, गिज़ा, यक-साँ, महदूद, कुतूहल, ताज्जुब।
💬 संवादात्मक शैली जो सीधे पाठक से संवाद करती है।

🟪 कथ्य का महत्व:
📜 छोटे आकार के बावजूद विराट कथ्य और प्रभावशाली प्रस्तुतीकरण।
🎭 व्यक्तिगत अनुभवों के माध्यम से राष्ट्रीय चेतना का प्रसार।
🧭 ऐतिहासिक और समकालीन संदर्भों का सुंदर समन्वय।

🏁 निष्कर्ष
‘भारत माता’ पाठ में नेहरू जी ने अत्यंत सरल और प्रभावशाली ढंग से यह स्पष्ट किया है कि भारत केवल एक भौगोलिक इकाई नहीं बल्कि यहां रहने वाले करोड़ों लोगों का समुच्चय है। उन्होंने किसानों और आम जनता को यह अहसास दिलाया कि वे स्वयं भारत माता के अंश हैं और उनकी जय ही भारत माता की जय है। यह पाठ आज भी राष्ट्रीय एकता, जन-जागरण और सच्ची देशभक्ति का प्रेरक संदेश देता है।

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पाठ्यपुस्तक के प्रश्न

🟠 प्रश्न 1: भारत की चर्चा नेहरू जी कब और किससे करते थे?
🔵 उत्तर: नेहरू जी भारत की चर्चा विशेष रूप से अपने देशवासियों और किसानों से करते थे। वे जब भी गाँवों और ग्रामीण इलाकों का दौरा करते, तब वहाँ की जनता से भारत की स्थिति, उसकी समस्याओं और उसके भविष्य के बारे में बात करते। वे चाहते थे कि आम लोग अपने देश की वास्तविक परिस्थितियों को समझें और उसके विकास में सक्रिय भूमिका निभाएँ।

🟠 प्रश्न 2: नेहरू जी भारत के सभी किसानों से कौन-सा प्रश्न बार-बार करते थे?
🔵 उत्तर: नेहरू जी किसानों से बार-बार यह प्रश्न करते थे कि “भारत माता” का अर्थ उनके लिए क्या है। वे जानना चाहते थे कि किसानों के मन में देश के प्रति कैसी भावना है और वे भारत माता को किस रूप में देखते हैं। इस प्रश्न के माध्यम से वे देशभक्ति और राष्ट्रीय चेतना को किसानों के मन में जागृत करना चाहते थे।

🟠 प्रश्न 3: दुनिया के बारे में किसानों को बताना नेहरू जी के लिए क्यों आसान था?
🔵 उत्तर: नेहरू जी के लिए दुनिया के बारे में बताना इसलिए आसान था क्योंकि उनके पास विदेशी अनुभव और व्यापक ज्ञान था। उन्होंने अनेक देशों की यात्रा की थी और वहाँ की सामाजिक, आर्थिक तथा राजनीतिक परिस्थितियों को समझा था। इसलिए वे किसानों को दुनिया की प्रगति और भारत की स्थिति का तुलनात्मक विश्लेषण सरल और रोचक ढंग से समझा पाते थे।

🟠 प्रश्न 4: किसान सामान्यतः “भारत माता” का क्या अर्थ लेते थे?
🔵 उत्तर: किसान सामान्यतः “भारत माता” को केवल एक धार्मिक या सांस्कृतिक प्रतीक के रूप में देखते थे। वे इसे एक देवी के रूप में पूजनीय मानते थे, जिसके चित्र की आराधना की जाती है। उनका दृष्टिकोण भावनात्मक था और वे भारत माता को किसी सजीव राष्ट्र या जनता के रूप में नहीं, बल्कि एक आराध्य शक्ति के रूप में समझते थे।

🟠 प्रश्न 5: भारत माता के प्रति नेहरू जी की क्या अवधारणा थी?
🔵 उत्तर: नेहरू जी के अनुसार “भारत माता” केवल एक देवी की मूर्ति नहीं, बल्कि देश की समस्त जनता का प्रतीक है। उनके विचार में भारत माता खेतों, नदियों, पर्वतों और सीमाओं से अधिक वह करोड़ों लोग हैं जो इसमें बसते हैं। उनका मानना था कि सच्ची देशभक्ति इन लोगों की सेवा में निहित है और भारत माता की पूजा उनके जीवन को बेहतर बनाने के प्रयासों से ही संभव है।

🟠 प्रश्न 6: आज़ादी से पूर्व किसानों को किन समस्याओं का सामना करना पड़ता था?
🔵 उत्तर: आज़ादी से पहले किसानों को अनेक गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ता था। वे भारी करों, ज़मींदारों के अत्याचार, गरीबी, कर्ज़ और अशिक्षा से जूझते थे। उनके पास आधुनिक कृषि साधन नहीं थे, जिससे उनकी उपज कम होती थी। ब्रिटिश सरकार की शोषणकारी नीतियों के कारण उनकी आर्थिक स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही थी और उनका जीवन संघर्षपूर्ण बना हुआ था।

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अन्य महत्वपूर्ण प्रश्न


🔵 बहुविकल्पीय प्रश्न (MCQ)
🟢 प्रश्न 1
नेहरू जी देश के विभिन्न भागों में किनसे अधिक बातचीत करते थे?
🟡 1️⃣ शहर के शिक्षित लोगों से
🔵 2️⃣ गाँव के किसानों से
🟢 3️⃣ व्यापारियों से
🔴 4️⃣ अधिकारियों से
✅ उत्तर: 2️⃣ गाँव के किसानों से

🟢 प्रश्न 2
भारत नाम किसके नाम पर पड़ा?
🟡 1️⃣ राजा भरत के नाम पर
🔵 2️⃣ महाराज दुष्यंत के नाम पर
🟢 3️⃣ देवी शकुंतला के नाम पर
🔴 4️⃣ किसी देवता के नाम पर
✅ उत्तर: 1️⃣ राजा भरत के नाम पर

🟢 प्रश्न 3
किसानों की समस्याओं में कौन-सी समस्या सबसे अधिक थी?
🟡 1️⃣ शिक्षा की कमी
🔵 2️⃣ गरीबी, कर्जदारी और महाजनों का शोषण
🟢 3️⃣ सड़कों की कमी
🔴 4️⃣ अस्पतालों की कमी
✅ उत्तर: 2️⃣ गरीबी, कर्जदारी और महाजनों का शोषण

🟢 प्रश्न 4
जब नेहरू जी ने किसानों से भारत माता का अर्थ पूछा तो उन्होंने क्या उत्तर दिया?
🟡 1️⃣ देवी दुर्गा
🔵 2️⃣ धरती या भूमि
🟢 3️⃣ तिरंगा झंडा
🔴 4️⃣ संविधान
✅ उत्तर: 2️⃣ धरती या भूमि

🟢 प्रश्न 5
नेहरू जी के अनुसार भारत माता का सही अर्थ क्या है?
🟡 1️⃣ केवल भारत की भूमि
🔵 2️⃣ भारत के करोड़ों लोग और उनकी धरती
🟢 3️⃣ केवल पहाड़ और नदियाँ
🔴 4️⃣ केवल शहर और गाँव
✅ उत्तर: 2️⃣ भारत के करोड़ों लोग और उनकी धरती

🔵 लघु उत्तरीय प्रश्न
🟠 प्रश्न 6
नेहरू जी गाँव के लोगों से अधिक बात क्यों करते थे?
💠 उत्तर: नेहरू जी का मानना था कि शहर के लोग अधिक समझदार होते हैं और कम सुनना पसंद करते हैं जबकि गाँव के लोगों को देश की एकता समझाने की अधिक आवश्यकता थी।

🟠 प्रश्न 7
भारत के विभिन्न हिस्सों के किसानों की समस्याएँ एक जैसी क्यों थीं?
💠 उत्तर: सभी किसान गरीबी, कर्ज, जमींदारों के शोषण, महाजनों के ब्याज, लगान और पुलिस के अत्याचार से पीड़ित थे क्योंकि विदेशी शासन सबको समान रूप से शोषित करता था।

🟠 प्रश्न 8
लोगों की आँखों में चमक कब आ जाती थी?
💠 उत्तर: जब नेहरू जी उन्हें समझाते थे कि तुम स्वयं भारत माता के अंश हो, एक तरह से तुम ही भारत माता हो, तब उनकी आँखों में चमक आ जाती थी।

🟠 प्रश्न 9
नेहरू जी किसानों को विदेशों की बातें क्यों सुनाते थे?
💠 उत्तर: नेहरू जी किसानों को अमेरिका, सोवियत संघ की प्रगति और विश्व की आर्थिक स्थिति बताकर उनकी सोच का विस्तार करना चाहते थे और स्वराज की प्रेरणा देना चाहते थे।

🟠 प्रश्न 10
‘भारत माता की जय’ का सही अर्थ क्या है?
💠 उत्तर: भारत माता की जय का अर्थ है भारत की नदियों, पहाड़ों, जंगलों, खेतों और यहाँ के करोड़ों लोगों की जय।

🔵 मध्यम उत्तरीय प्रश्न
🔴 प्रश्न 11
नेहरू जी ने भारत की एकता को किस प्रकार स्थापित किया?
🔷 उत्तर: नेहरू जी ने भारत की एकता स्थापित करने के लिए देश के विभिन्न हिस्सों की यात्रा की और लोगों को समझाया कि भारत अनेक हिस्सों में बँटा होने के बाद भी एक है। उन्होंने किसानों से बातचीत करके यह बताया कि उत्तर से दक्षिण और पूरब से पश्चिम तक सभी किसानों की समस्याएँ एक जैसी हैं। उन्होंने यह स्पष्ट किया कि भारत के सभी निवासी एक साथ मिलकर ही देश की आजादी प्राप्त कर सकते हैं। इस प्रकार उन्होंने भौगोलिक और सामाजिक एकता की भावना जागृत की।

🔴 प्रश्न 12
आजादी से पूर्व किसानों की प्रमुख समस्याएँ क्या थीं?
🔷 उत्तर: आजादी से पूर्व किसानों की स्थिति अत्यंत दयनीय थी। वे गरीबी और कर्ज के बोझ तले दबे हुए थे। पूँजीपति और जमींदार उनका शोषण करते थे। महाजन उनसे भारी ब्याज वसूलते थे जिसे चुकाते-चुकाते उनकी पीढ़ियाँ समाप्त हो जाती थीं। उन्हें अत्यधिक लगान देना पड़ता था और पुलिस के अत्याचार भी सहने पड़ते थे। विदेशी शासन के कारण उनकी स्थिति और भी दुखद हो गई थी। उनके पास न तो शिक्षा थी और न ही अपने अधिकारों की जानकारी।

🔴 प्रश्न 13
नेहरू जी की भारत माता की अवधारणा को स्पष्ट कीजिए।
🔷 उत्तर: नेहरू जी के अनुसार भारत माता केवल भूमि का टुकड़ा नहीं है बल्कि भारत की नदियाँ, पहाड़, जंगल, खेत और यहाँ के करोड़ों लोग मिलकर भारत माता हैं। उन्होंने किसानों को समझाया कि तुम स्वयं भारत माता के अंश हो, एक तरह से तुम ही भारत माता हो। भारत माता की जय का अर्थ है इन सभी करोड़ों लोगों की जय। यह अवधारणा भौतिक और मानवीय दोनों पक्षों को समाहित करती है और देश की एकता का प्रतीक है।

🔵 विस्तृत उत्तरीय प्रश्न
🟣 प्रश्न 14
‘भारत माता’ पाठ का प्रतिपाद्य और इसकी वर्तमान प्रासंगिकता स्पष्ट कीजिए।
🔶 उत्तर: जवाहरलाल नेहरू द्वारा रचित ‘भारत माता’ पाठ हिंदुस्तान की कहानी का पाँचवाँ अध्याय है। इस पाठ में नेहरू जी ने भारत की एकता, अखंडता और भारत माता की सही अवधारणा को स्पष्ट किया है। नेहरू जी स्वतंत्रता आंदोलन के दौरान देश के विभिन्न भागों में जलसों में जाते थे और विशेष रूप से गाँव के किसानों से बातचीत करते थे। वे उन्हें समझाते थे कि भारत अनेक हिस्सों में बँटा होने के बावजूद एक है। उन्होंने किसानों की समस्याओं पर चर्चा की और बताया कि उत्तर से दक्षिण और पूरब से पश्चिम तक सभी किसानों की समस्याएँ एक जैसी हैं जैसे गरीबी, कर्ज, जमींदारों का शोषण, महाजनों का ब्याज और पुलिस के अत्याचार। जब लोग भारत माता की जय बोलते थे तो नेहरू जी उनसे पूछते थे कि भारत माता कौन है। अधिकांश लोग धरती को भारत माता मानते थे लेकिन नेहरू जी ने उन्हें समझाया कि भारत माता केवल धरती नहीं है बल्कि भारत की नदियाँ, पहाड़, जंगल, खेत और यहाँ के करोड़ों लोग सब मिलकर भारत माता हैं। उन्होंने कहा कि तुम स्वयं भारत माता के अंश हो। जब यह बात उनकी समझ में आती थी तो उनकी आँखों में एक विशेष चमक आ जाती थी। यह पाठ आज भी अत्यंत प्रासंगिक है। आज जब देश में जातिवाद, क्षेत्रवाद, भाषावाद और धार्मिक विभाजन की समस्याएँ हैं तब नेहरू जी की यह अवधारणा हमें याद दिलाती है कि हम सभी भारत माता के अंश हैं। देश की एकता और अखंडता बनाए रखने के लिए हमें यह समझना होगा कि भारत माता का अर्थ है यहाँ के करोड़ों विविध लोग जो मिलकर एक राष्ट्र बनाते हैं।

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अतिरिक्त ज्ञान

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दृश्य सामग्री

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