Class 10, Social Science (Hindi)

Class 10 : Social Science (In Hindi) – Lesson 10. खनिज और ऊर्जा संसाधन

पाठ का विश्लेषण एवं विवेचन


🔴 विस्तृत व्याख्या
🟢 परिचय
⛏️ खनिज तथा ऊर्जा संसाधन मानव सभ्यता के औद्योगिक, कृषि, परिवहन और घरेलू कार्यों के लिए अनिवार्य हैं। खनिज पृथ्वी की पपड़ी में पाए जाने वाले प्राकृतिक अकार्बनिक पदार्थ हैं, जबकि ऊर्जा संसाधन कार्य करने की शक्ति प्रदान करते हैं। भारत विविध स्थलरूप और भूगर्भिक संरचना के कारण खनिज–ऊर्जा संपन्न देश है।


🟡 खनिज संसाधनों के प्रकार
🔹 धात्विक खनिज — लोहा, मैंगनीज़, ताँबा, बॉक्साइट, सोना, जस्ता।
🔹 अधात्विक खनिज — अभ्रक, चूना पत्थर, लवण, फॉस्फोराइट।
🔹 ऊर्जा खनिज — कोयला, पेट्रोलियम, प्राकृतिक गैस, यूरेनियम।


🔴 प्रमुख धात्विक खनिज
🔸 लौह अयस्क — इस्पात उद्योग की रीढ़; झारखंड, ओडिशा, छत्तीसगढ़।
🔸 मैंगनीज़ — इस्पात कठोर बनाने व रसायन; मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र।
🔸 ताँबा — विद्युत–तार व मिश्रधातु; राजस्थान (खेतड़ी), झारखंड (सिंघभूम)।
🔸 बॉक्साइट — एल्युमिनियम उत्पादन; झारखंड, ओडिशा।


🟠 अधात्विक खनिज
🔹 अभ्रक — विद्युत उपकरण, पेंट; झारखंड, राजस्थान।
🔹 चूना पत्थर — सीमेंट उद्योग; मध्य प्रदेश, आंध्र प्रदेश।


🟣 ऊर्जा संसाधन — पारंपरिक
🔸 कोयला — भारत का मुख्य ऊर्जा स्रोत; झारखंड, ओडिशा, छत्तीसगढ़।
🔸 पेट्रोलियम — परिवहन ईंधन; असम (डिगबोई), गुजरात, अपतटीय बॉम्बे हाई।
🔸 प्राकृतिक गैस — रसोई गैस व बिजली उत्पादन; कृष्णा–गोदावरी बेसिन, त्रिपुरा।
🔸 विद्युत उत्पादन — ताप विद्युत (कोयला–आधारित), जल विद्युत (बाँध), परमाणु ऊर्जा (यूरेनियम–थोरियम)।


🟢 ऊर्जा संसाधन — अपारंपरिक
🔹 सौर ऊर्जा — राजस्थान, गुजरात।
🔹 पवन ऊर्जा — तमिलनाडु, गुजरात।
🔹 बायो गैस — ग्रामीण क्षेत्रों में।
🔹 भूतापीय व ज्वारीय ऊर्जा — हिमालय व कच्छ के तटीय क्षेत्र।


🟡 खनन एवं पर्यावरणीय समस्याएँ
🔸 खुली खदानें मृदा अपरदन व भू–स्खलन का कारण।
🔸 जल व वायु प्रदूषण, पारिस्थितिक असंतुलन।
🔸 भूमि क्षरण व स्थानीय समुदायों का विस्थापन।


🔴 खनिज एवं ऊर्जा संरक्षण के उपाय
🔹 वैकल्पिक ऊर्जा स्रोतों का उपयोग।
🔹 खनिज पुनर्चक्रण और कुशल उपयोग।
🔹 खनन के बाद भूमि पुनर्वास।
🔹 ऊर्जा–सक्षम उपकरण व तकनीक।


🟠 खनिज आधारित उद्योगों का महत्व
🔸 इस्पात, एल्युमिनियम, सीमेंट, रसायन व उर्वरक उद्योगों की आधारशिला।
🔸 रोजगार व क्षेत्रीय विकास में योगदान।
🔸 निर्यात से विदेशी मुद्रा अर्जन।


🟤 ऊर्जा संकट और समाधान
🔸 जनसंख्या वृद्धि व औद्योगिकीकरण से ऊर्जा मांग तेजी से बढ़ी।
🔸 कोयला–पेट्रोलियम भंडार सीमित हैं; आयात पर निर्भरता।
🔸 अपारंपरिक स्रोत (सौर, पवन) को बढ़ावा देना।
🔸 ऊर्जा संरक्षण और दक्षता में सुधार।


🟩 भारत में विद्युत उत्पादन के प्रमुख स्रोत
🔹 ताप विद्युत — 70% के आसपास।
🔹 जल विद्युत — लगभग 25%।
🔹 परमाणु ऊर्जा — लगभग 3–4%।
🔹 नवीकरणीय ऊर्जा — तेज़ी से बढ़ती हिस्सेदारी।


🟧 सरकारी पहलें
🔸 कोयला मंत्रालय व कोल इंडिया लिमिटेड द्वारा खनन प्रबंधन।
🔸 “उज्ज्वल भारत” योजना, सौर ऊर्जा मिशन।
🔸 राष्ट्रीय पवन ऊर्जा निगम।
🔸 ऊर्जा दक्षता ब्यूरो (BEE) द्वारा मानक निर्धारण।


🟪 भविष्य की दिशा
🔹 सतत खनन तकनीकें, पर्यावरणीय नियमन सख़्त करना।
🔹 ऊर्जा मिश्रण में नवीकरणीय स्रोतों की भागीदारी बढ़ाना।
🔹 स्थानीय समुदायों को निर्णय प्रक्रिया में शामिल करना।
🔹 ऊर्जा–साक्षरता व जागरूकता अभियान।


🟦 निष्कर्ष
⛏️ खनिज तथा ऊर्जा संसाधन आर्थिक विकास की नींव हैं। विवेकपूर्ण उपयोग, नवीकरणीय स्रोतों को बढ़ावा और पर्यावरणीय संतुलन से ही सतत विकास संभव है।

📝 सारांश (~200 शब्द)
🔵 खनिज और ऊर्जा संसाधन उद्योग, परिवहन व कृषि के लिए अनिवार्य हैं। धात्विक खनिजों (लोहा, ताँबा, बॉक्साइट) व अधात्विक खनिजों (अभ्रक, चूना पत्थर) के भंडार झारखंड, ओडिशा, राजस्थान आदि में पाए जाते हैं। ऊर्जा संसाधनों में कोयला, पेट्रोलियम, प्राकृतिक गैस, जल विद्युत व परमाणु ऊर्जा पारंपरिक स्रोत हैं, जबकि सौर, पवन व बायो गैस अपारंपरिक हैं। खनन से मृदा अपरदन, प्रदूषण व विस्थापन जैसी समस्याएँ उत्पन्न होती हैं। संरक्षण हेतु पुनर्चक्रण, वैकल्पिक स्रोतों का उपयोग और ऊर्जा दक्षता बढ़ाना आवश्यक है। औद्योगिक विकास, विदेशी मुद्रा अर्जन और रोजगार में इन संसाधनों का बड़ा योगदान है। ऊर्जा संकट से निपटने के लिए अपारंपरिक स्रोतों और सतत तकनीकों को बढ़ावा देना ज़रूरी है।

⚡ त्वरित पुनरावृत्ति (~100 शब्द)
🔹 खनिज = पृथ्वी की पपड़ी में प्राकृतिक पदार्थ; ऊर्जा संसाधन = कार्य की शक्ति।
🔹 धात्विक — लोहा, ताँबा, बॉक्साइट। अधात्विक — अभ्रक, चूना पत्थर।
🔹 ऊर्जा — कोयला, पेट्रोलियम, प्राकृतिक गैस, जलविद्युत, परमाणु, सौर, पवन।
🔹 खनन के दुष्परिणाम — मृदा अपरदन, प्रदूषण, विस्थापन।


🔹 संरक्षण उपाय — पुनर्चक्रण, वैकल्पिक ऊर्जा, दक्ष तकनीक।
🔹 उद्योग व अर्थव्यवस्था में बड़ा योगदान।
🔹 अपारंपरिक ऊर्जा का महत्व — सौर, पवन, बायोगैस।
🔹 सतत विकास हेतु विवेकपूर्ण उपयोग अनिवार्य।

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पाठ्यपुस्तक के प्रश्न


🟡 प्रश्न 1 — बहुविकल्पीय प्रश्न
🟠 प्रश्न (i): निम्नलिखित में से कौन-सा खनिज अपक्षयित पदार्थ के अवशिष्ट भार को त्यागता हुआ चट्टानों के अपक्षय से बनता है?
🔵 1. कोयला
🟢 2. बॉक्साइट
🟡 3. सोना
🔴 4. जस्ता
🟣 उत्तर: 2 — बॉक्साइट


🟠 प्रश्न (ii): झारखंड में सिंहभूम खनिज पट्टी किस खनिज का अयस्क उत्पादक है?
🔵 1. बॉक्साइट
🟢 2. अभ्रक
🟡 3. लौह अयस्क
🔴 4. ताँबा
🟣 उत्तर: 3 — लौह अयस्क


🟠 प्रश्न (iii): निम्नलिखित खानों में से किस खनन के स्तरों में खनिजों का निष्कर्षण और संचयन होता है?
🔵 1. तलछटी खनन
🟢 2. आग्नेय खनन
🟡 3. कायांतरित खनन
🔴 4. इनमें से कोई नहीं
🟣 उत्तर: 1 — तलछटी खनन


🟠 प्रश्न (iv): मानसार रत्न में निम्नलिखित में से कौन-सा खनिज पाया जाता है?
🔵 1. खनिज तेल
🟢 2. यूरेनियम
🟡 3. थोरियम
🔴 4. कोयला
🟣 उत्तर: 2 — यूरेनियम

🟡 प्रश्न 2 — लगभग 30 शब्दों में उत्तर दें
🟠 प्रश्न (i): निम्नलिखित में अंतर 30 शब्दों से अधिक न दें—
(क) लौह और अलौह खनिज
🟢 उत्तर: लौह खनिज — जिनमें लोहा होता है (उदा. लौह अयस्क, मैंगनीज़)।
अलौह खनिज — जिनमें लोहा नहीं होता (उदा. बॉक्साइट, ताँबा, अभ्रक)।
(ख) पारंपरिक तथा गैर-पारंपरिक ऊर्जा साधन
🟢 उत्तर: पारंपरिक ऊर्जा — कोयला, पेट्रोलियम, जलविद्युत।
गैर-पारंपरिक ऊर्जा — सौर, पवन, बायोगैस, भूतापीय।

🟡 प्रश्न 2 (ii): खनिज क्या हैं?
🟢 उत्तर: खनिज पृथ्वी की पपड़ी में पाए जाने वाले प्राकृतिक अकार्बनिक पदार्थ हैं, जिनकी रासायनिक संरचना स्थिर होती है और जिनसे औद्योगिक, कृषि व घरेलू कार्यों हेतु उपयोगी धातुएँ व पदार्थ मिलते हैं।

🟡 प्रश्न 2 (iii): आग्नेय तथा कायांतरित चट्टानों में खनिजों का निर्माण कैसे होता है?
🟢 उत्तर: आग्नेय चट्टानों में खनिज मैग्मा के ठंडा होने से बनते हैं (उदा. ग्रेनाइट में क्वार्ट्ज)। कायांतरित चट्टानों में उच्च ताप और दबाव से मौजूदा खनिजों का रूपांतरण होता है (उदा. संगमरमर)।

🟡 प्रश्न 2 (iv): खनिजों की सुरक्षा की आवश्यकता क्यों है?
🟢 उत्तर: खनिज अपुनःनवीकरणीय हैं; अत्यधिक दोहन से ये समाप्त हो सकते हैं। सतत विकास, उद्योगों की स्थिरता और पर्यावरणीय संतुलन हेतु खनिज संरक्षण अनिवार्य है।

🟡 प्रश्न 3 — लगभग 120 शब्दों में उत्तर दें
🟠 प्रश्न (i): भारत में कोयले के वितरण का वर्णन कीजिए।
🟢 उत्तर: भारत में कोयला मुख्यतः गोंडवाना और तृतीयक श्रृंखलाओं में पाया जाता है। प्रमुख गोंडवाना कोयला क्षेत्र झारखंड (झरिया, रानीगंज), ओडिशा (तालचेर), छत्तीसगढ़ (कोरबा), पश्चिम बंगाल और मध्य प्रदेश हैं। तृतीयक कोयला असम, मेघालय, नागालैंड में मिलता है। झरिया व रानीगंज खदानें कोकिंग कोयले के लिए प्रसिद्ध हैं। कोयला ताप विद्युत उत्पादन, इस्पात व सीमेंट उद्योग का प्रमुख ईंधन है। इसका विवेकपूर्ण उपयोग और स्वच्छ तकनीक अपनाना पर्यावरणीय दृष्टि से आवश्यक है।


🟠 प्रश्न (ii): भारत में सौर ऊर्जा का भविष्य उज्ज्वल क्यों है?
🟢 उत्तर: भारत भूमध्यरेखीय क्षेत्र के निकट है और अधिकांश भाग में प्रतिवर्ष 300+ धूप वाले दिन होते हैं। राजस्थान, गुजरात, तमिलनाडु, महाराष्ट्र सौर ऊर्जा क्षमता में अग्रणी हैं। सौर ऊर्जा नवीकरणीय, स्वच्छ और सतत विकास के लिए उपयुक्त है। बढ़ती ऊर्जा मांग, जीवाश्म ईंधनों की सीमितता और सरकारी पहल (राष्ट्रीय सौर मिशन) इसे भविष्य की ऊर्जा का प्रमुख स्रोत बनाती हैं। ग्रामीण विद्युतीकरण, स्मार्ट ग्रिड और छोटे स्तर की सौर परियोजनाएँ ऊर्जा आत्मनिर्भरता बढ़ाएँगी।

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अन्य महत्वपूर्ण प्रश्न


🟡 अनुभाग A — बहुविकल्पीय प्रश्न (1 अंक प्रत्येक)
🟠 प्रश्न 1: कौन-सा खनिज अपक्षयित चट्टानों से अवशिष्ट भार छोड़ने पर बनता है?
🔵 1. कोयला
🟢 2. बॉक्साइट
🟡 3. सोना
🔴 4. जस्ता
🟣 उत्तर: 2 — बॉक्साइट


🟠 प्रश्न 2: झारखंड में सिंहभूम खनिज पट्टी किस खनिज के लिए प्रसिद्ध है?
🔵 1. बॉक्साइट
🟢 2. लौह अयस्क
🟡 3. अभ्रक
🔴 4. ताँबा
🟣 उत्तर: 2 — लौह अयस्क


🟠 प्रश्न 3: तलछटी खानों में खनिजों का निष्कर्षण किस कारण नियंत्रित होता है?
🔵 1. तलछटी परतें
🟢 2. मैग्मा प्रवाह
🟡 3. कायांतरित दबाव
🔴 4. इनमें से कोई नहीं
🟣 उत्तर: 1 — तलछटी परतें


🟠 प्रश्न 4: मानसार रत्न में पाया जाने वाला खनिज कौन-सा है?
🔵 1. खनिज तेल
🟢 2. यूरेनियम
🟡 3. थोरियम
🔴 4. कोयला
🟣 उत्तर: 2 — यूरेनियम


🟠 प्रश्न 5: अभ्रक का प्रमुख उपयोग किस उद्योग में होता है?
🔵 1. विद्युत उपकरण
🟢 2. वस्त्र
🟡 3. सीमेंट
🔴 4. खाद
🟣 उत्तर: 1 — विद्युत उपकरण


🟠 प्रश्न 6: भारत का सबसे बड़ा कोयला उत्पादक राज्य कौन-सा है?
🔵 1. ओडिशा
🟢 2. झारखंड
🟡 3. छत्तीसगढ़
🔴 4. असम
🟣 उत्तर: 2 — झारखंड


🟠 प्रश्न 7: बॉक्साइट किस धातु के निर्माण में प्रयुक्त होता है?
🔵 1. ताँबा
🟢 2. एल्युमिनियम
🟡 3. सीसा
🔴 4. जस्ता
🟣 उत्तर: 2 — एल्युमिनियम


🟠 प्रश्न 8: यूरेनियम और थोरियम किस प्रकार के ऊर्जा संसाधन हैं?
🔵 1. नवीकरणीय
🟢 2. परमाणु ऊर्जा स्रोत
🟡 3. पवन ऊर्जा स्रोत
🔴 4. बायोगैस
🟣 उत्तर: 2 — परमाणु ऊर्जा स्रोत


🟠 प्रश्न 9: अपारंपरिक ऊर्जा का एक उदाहरण कौन-सा है?
🔵 1. कोयला
🟢 2. पेट्रोलियम
🟡 3. सौर ऊर्जा
🔴 4. प्राकृतिक गैस
🟣 उत्तर: 3 — सौर ऊर्जा


🟠 प्रश्न 10: पवन ऊर्जा का सबसे अधिक विकास किस राज्य में हुआ है?
🔵 1. तमिलनाडु
🟢 2. राजस्थान
🟡 3. बिहार
🔴 4. झारखंड
🟣 उत्तर: 1 — तमिलनाडु


🟠 प्रश्न 11: खनिज संसाधनों का विवेकपूर्ण उपयोग क्यों आवश्यक है?
🟣 उत्तर: ये अपुनःनवीकरणीय हैं; औद्योगिक विकास व पर्यावरणीय संतुलन बनाए रखने हेतु इनका संरक्षण ज़रूरी है।


🟠 प्रश्न 12: कोयले के दो प्रमुख प्रकार बताइए।
🟣 उत्तर: बिटुमिनस और लिग्नाइट।


🟠 प्रश्न 13: भारत का पहला तेल क्षेत्र कौन-सा था?
🔵 1. बॉम्बे हाई
🟢 2. डिगबोई (असम)
🟡 3. अंकलेश्वर (गुजरात)
🔴 4. नागालैंड
🟣 उत्तर: 2 — डिगबोई (असम)


🟠 प्रश्न 14: जलविद्युत परियोजनाओं का एक लाभ बताइए।
🟣 उत्तर: नवीकरणीय ऊर्जा उत्पादन और बाढ़ नियंत्रण।


🟠 प्रश्न 15: प्राकृतिक गैस का एक प्रमुख उत्पादक क्षेत्र बताइए।
🟣 उत्तर: कृष्णा–गोदावरी बेसिन।


🟠 प्रश्न 16: खनिजों के संरक्षण का एक उपाय लिखिए।
🟣 उत्तर: खनिजों का पुनर्चक्रण व वैकल्पिक संसाधनों का प्रयोग।


🟠 प्रश्न 17: थोरियम भारत में कहाँ पाया जाता है?
🟣 उत्तर: केरल के तटीय रेत में।


🟠 प्रश्न 18: भारत में ऊर्जा संकट क्यों उत्पन्न हो रहा है?
🟣 उत्तर: बढ़ती जनसंख्या, औद्योगिकीकरण, सीमित जीवाश्म ईंधन भंडार और प्रदूषण के कारण ऊर्जा संकट उत्पन्न हो रहा है।


🟡 अनुभाग B — लघु उत्तर (2–3 अंक)
🟠 प्रश्न 19: भारत में खनिजों के संरक्षण की आवश्यकता क्यों है?
🟢 उत्तर:
🔹 खनिज अपुनःनवीकरणीय हैं; अत्यधिक दोहन से समाप्त हो सकते हैं।
🔹 औद्योगिक विकास और पर्यावरणीय संतुलन बनाए रखने हेतु संरक्षण आवश्यक है।


🟠 प्रश्न 20: यूरेनियम और थोरियम का प्रमुख उपयोग क्या है?
🟢 उत्तर:
🔹 परमाणु ऊर्जा उत्पादन।
🔹 शोध व औद्योगिक उपयोग के लिए रेडियोधर्मी स्रोत।


🟠 प्रश्न 21: भारत का पहला तेल क्षेत्र कौन-सा है और यह कहाँ स्थित है?
🟢 उत्तर:
🔹 डिगबोई तेल क्षेत्र — असम राज्य में।


🟠 प्रश्न 22: खनन से उत्पन्न दो पर्यावरणीय समस्याएँ बताइए।
🟢 उत्तर:
🔹 मृदा अपरदन व भू–स्खलन।
🔹 जल व वायु प्रदूषण तथा वनस्पति ह्रास।


🟠 प्रश्न 23: बॉक्साइट के दो प्रमुख उत्पादक राज्य बताइए।
🟢 उत्तर:
🔹 झारखंड और ओडिशा।

🟣 अनुभाग C — मध्यम उत्तर (3 अंक)
🟠 प्रश्न 24: भारत में कोयला किस प्रकार का ऊर्जा स्रोत है और इसके दो प्रमुख प्रकार बताइए।
🟢 उत्तर:
🔹 कोयला — पारंपरिक ऊर्जा स्रोत।
🔹 प्रकार — (1) बिटुमिनस (उच्च गुणवत्ता) (2) लिग्नाइट (मध्यम गुणवत्ता)।


🟠 प्रश्न 25: अपारंपरिक ऊर्जा स्रोतों के दो लाभ लिखिए।
🟢 उत्तर:
🔹 नवीकरणीय व असीमित स्रोत, पर्यावरण–अनुकूल।
🔹 ग्रामीण विद्युतीकरण व ऊर्जा आत्मनिर्भरता में सहायक।


🟠 प्रश्न 26: झारखंड और छत्तीसगढ़ में लौह अयस्क उत्पादन का महत्व स्पष्ट कीजिए।
🟢 उत्तर:
🔹 भारत के इस्पात उद्योग के लिए प्रमुख कच्चा माल।
🔹 रोजगार और औद्योगिक विकास को गति।
🔹 निर्यात से विदेशी मुद्रा अर्जन।


🟠 प्रश्न 27: सौर ऊर्जा के बढ़ते महत्व के दो कारण लिखिए।
🟢 उत्तर:
🔹 जीवाश्म ईंधनों का सीमित भंडार और प्रदूषण की समस्या।
🔹 सौर ऊर्जा नवीकरणीय, स्वच्छ और दूरस्थ क्षेत्रों में भी उपलब्ध।


🟠 प्रश्न 28: परमाणु ऊर्जा के दो प्रमुख संयंत्र बताइए।
🟢 उत्तर:
🔹 तारापुर (महाराष्ट्र) और कलपक्कम (तमिलनाडु)।

🔶 अनुभाग D — दीर्घ उत्तर (5 अंक)
🟠 प्रश्न 29: भारत में ऊर्जा संकट के तीन कारण और दो समाधान बताइए।
🟢 उत्तर:
🔹 कारण — (1) बढ़ती जनसंख्या और औद्योगिकीकरण। (2) जीवाश्म ईंधनों का सीमित भंडार। (3) ऊर्जा अपव्यय व प्रदूषण।
🔹 समाधान — (1) नवीकरणीय ऊर्जा (सौर, पवन) को बढ़ावा। (2) ऊर्जा दक्षता व संरक्षण तकनीकें अपनाना।


🟠 प्रश्न 30: कोयला और पेट्रोलियम के वितरण व महत्व की तुलना कीजिए।
🟢 उत्तर:
🔹 कोयला — झारखंड (झरिया), ओडिशा (तालचेर), छत्तीसगढ़ (कोरबा); ताप विद्युत, इस्पात उद्योग हेतु।
🔹 पेट्रोलियम — असम (डिगबोई), गुजरात (अंकलेश्वर), बॉम्बे हाई; परिवहन ईंधन व रसायन उद्योग हेतु।


🟠 प्रश्न 31: खनिज संसाधनों के विवेकपूर्ण उपयोग हेतु तीन उपाय लिखिए।
🟢 उत्तर:
🔹 खनिजों का पुनर्चक्रण और कुशल उपयोग।
🔹 खनन के बाद भूमि पुनर्वास।
🔹 वैकल्पिक व अपारंपरिक ऊर्जा स्रोतों को बढ़ावा।

🟠 अनुभाग E — केस/स्रोत आधारित प्रश्न (5 अंक)
🟠 प्रश्न 32 (स्थितिजन्य): यदि किसी क्षेत्र में कोयले की उपलब्धता घटने लगे, तो ऊर्जा उत्पादन के लिए तीन वैकल्पिक उपाय सुझाइए।
🟢 उत्तर:
🔹 सौर और पवन ऊर्जा परियोजनाएँ स्थापित करना।
🔹 जलविद्युत और बायोगैस संयंत्र विकसित करना।
🔹 ऊर्जा–दक्ष तकनीकें और संरक्षण उपाय अपनाना।


🟠 प्रश्न 33 (स्रोताधारित): स्रोत के अनुसार बताइए कि अपारंपरिक ऊर्जा स्रोत पर्यावरणीय दृष्टि से क्यों बेहतर हैं और इनके दो उदाहरण दें।
🟢 उत्तर:
🔹 कारण — ये प्रदूषण रहित, नवीकरणीय और दीर्घकालीन हैं।
🔹 उदाहरण — सौर ऊर्जा और पवन ऊर्जा।

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एक पृष्ठ में पुनरावृत्ति

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स्मृति संकेत

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भ्रांति /वास्तविकता

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मजा भी , ज्ञान भी

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मस्तिष्क मानचित्र

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